राज्यपाल के अभिभाषण पर कम चर्चा, कांग्रेस पर ज्यादा चर्चा: आलमगीर आलम
रांची झारखंड विधानसभा अध्यक्ष रवींद्र महतो ने मंगलवार को विधानसभा का दो दिवसीय विशेष सत्र अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दिया। जमीन घोटाला मामले में हेमंत सोरेन की गिरफ्तारी के बाद चंपई सोरेन के नेतृत्व में बनी नई सरकार के शक्ति परीक्षण के लिए बुलाए गए दो दिवसीय विशेष सत्र में सरकार और विपक्ष के बीच तीखी बहस हुई. दोनों पक्षों ने राज्यपाल के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव में हिस्सा लिया और एक-दूसरे पर लोकतंत्र की हत्या का आरोप लगाया।
आलमगीर आलम ने कहा कि चंपई सोरेन के नेतृत्व में बनने वाली सरकार हेमंत सोरेन के काम को आगे बढ़ाएगी. उन्होंने सरकार की उपलब्धियां भी गिनाईं. उन्होंने कहा कि झारखंड राज्य का गठन भाजपा ने नहीं किया है. राज्य सरकार ने प्रस्ताव नहीं भेजा होता तो अलग झारखंड नहीं बनता. इसके लिए हमारे 11 मंत्रियों ने इस्तीफा दे दिया था. हम बिहार में गठबंधन सरकार में थे. अलग राज्य के निर्माण में हमारा सबसे बड़ा योगदान था।
आलम ने बीजेपी के उन आरोपों का भी जवाब दिया कि राहुल गांधी भगवान बिरसा मुंडा के गांव उलिहातू नहीं गए. उन्होंने कहा कि राहुल गांधी ने खूंटी में भगवान बिरसा मुंडा के परिजनों से मुलाकात की. साथ ही उन्हें सम्मानित भी किया. प्रधानमंत्री खूंटी आये थे. आदिवासियों को उम्मीद थी कि प्रधानमंत्री उन्हें सरना कोड का तोहफा देंगे, लेकिन उन्होंने क्या किया? आदिवासियों को निराश किया।
आलमगीर आलम ने कहा कि सदन में राज्यपाल के अभिभाषण पर कम और कांग्रेस पर ज्यादा चर्चा हुई. उन्होंने कहा कि विपक्ष के लोग कांग्रेस के नाम से डरते हैं. वे जान रहे हैं कि आने वाले दिनों में देश कांग्रेसमय होने जा रहा है। क्योंकि, कांग्रेस पार्टी ही लोकतंत्र को बचाने में सक्षम है।
उन्होंने सरकार पार्ट-2 पर विपक्ष के लगातार हमलों का भी जवाब दिया. उन्होंने कहा कि 2019 में हमारी सरकार आई. मुख्यमंत्री ने इसे हेमंत सोरेन पार्ट-2 कहा था क्योंकि जनता ने हमें पांच साल के लिए हेमंत सोरेन के नेतृत्व में जनमत दिया था. हर कोई जानता है कि बीजेपी ने किस तरह से इस चुनी हुई सरकार को गिराने की साजिश रची. अंतत: हेमंत सोरेन को इस्तीफा देना पड़ा. हालाँकि, हमारी सरकार नहीं गिरी। हम अपनी सरकार बचाने में सफल रहे. इसलिए हम इस सरकार को पार्ट-2 कह रहे हैं.